भारत एक ऐसा देश है जहाँ के मंदिर अपने आप में अद्भुत हैं. आज हम आपको ऐसे ही एक देवी माता के मंदिर के बारे में जो भारत-पाक की सीमा के पास है. भारत-पाक का जब युद्ध हुआ था तो मंदिर परिसर में एक नहीं बल्कि 450 गोले आकर गिरे लेकिन देवी माता के चमत्कार से एक भी गोला नहीं फटा. देश के गृह मंत्री अमित शाह वहां आज खुद दर्शन करने पहुंचे हैं और जवानों के साथ अपना समय व्यतीत करेंगे.
गृह मंत्री अमित शाह राजस्थान के सरहदी जिले जैसलमेर के तनोट माता मंदिर पहुंचे हैं. ये देवी का मंदिर हर हिन्दू के दिल में बड़ी आस्था का केंद्र है. भारत-पाक सीमा पर स्थित इस मंदिर के हर दिन हजारों की संख्या में श्रद्धालु दर्शन करने पहुंचते हैं. इस मंदिर का पुराना इतिहास बेहद खास है. भारतीय सेना के रक्षक के रूप में इस देवी के मंदिर को पूजा जाता है और सेना ही इस मंदिर की देखभाल करती है.
साल 1965 में भारत पाक के युद्ध के दौरान सेना के जवानों की रक्षा माता के इस मंदिर ने ही की थी. जैसलमेर के थार रेगिस्तान से 120 किलोमीटर दूर ये मंदिर स्थित है. तनोट माता मंदिर की मान्यता ये है कि देश के सैनिकों ने माता की मदद से दुश्मन देश पाक के सैनिकों के छक्के छुड़ा दिए थे और उन्हें पीछे हटने को मजबूर कर दिया था. आज भी इस मंदिर के प्रांगण में पाक द्वारा बरसाए गए बम रखे हुए हैं जो नहीं फटे थे.
युद्ध के दौरान पाक ने तीन अलग अलग दिशाओं से बम बरसा रहा था लेकिन तनोट माता और देश की रक्षा में तैनात मेजर अजय सिंह की कमांड एक कंपनी और और सीमा सुरक्षा बल की दो कम्पनियां हजारों की संख्या में आये दुश्मनों का सामना कर रही थी. बताया जाता है कि पाक ने इस युद्ध के दौरान 3000 बम गिराए थे फिर भी वो इस मंदिर को खरोंच तक नहीं पहुंचा पाए. वहीँ मंदिर परिसर में गिरे 450 तो फटे ही नहीं. ये माता का चमत्कार था.
गौरतलब है कि तनोट माता का ऐसा प्रभाव बताया गया कि युद्ध के समय पाकिस्तानी सेना इस कदर उलझ गयी थी कि रात के अँधेरे में वो अपने सैनिकों पर ही गोली चला रही थी. जिससे जल्दी उनका सफाया हुआ. अब इस मंदिर की देखभाल से लेकर साफ़-सफाई सब BSF ही करती है और दर्शन करने वाले श्रद्धालुओं को सुविधाएं देने का काम भी BSF करती है.